राजनाथ सिंह का नाम क्यों उछला

भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष पर  बातें हो रही हैं और अब उसमें एक और नया नाम शामिल हो गया है । पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष दो बार के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजनाथ सिंह को भी अध्यक्ष बनाया जा सकता है ऐसी चर्चाएं चल निकली हैं। वर्तमान में भारतीय जनता पार्टी के अघ्यक्ष नड्डाजी हैं जिनके पास  अभी स्वास्थ्य मंत्रालय भी है,  उनका अघ्यक्ष पद का समय लोकसभा चुनाव के पहले ही पूरा हो गया था लेकिन उनको एक्सटेंशन दे दिया गया था क्योंकि लोकसभा चुनाव के बीच किसी के पास समय नहीं था। लोकसभा के चुनाव पूरा हो गए और इस बात के संकेत भी दे दिए गए हैं कि अब नड्डा जी को  अध्यक्ष पद पर नहीं बनाए रखा जाएगा।

12 नेता शामिल अध्यक्ष पद की दौड़ में 

इस पद के लिए एक दर्जन से ज्यादा नामों के साथ राजनाथ सिंह का नाम भी शामिल है।कि वो भी  यह भारतीय जनता पार्टी के नए अध्यक्ष हो सकते हैं।  अन्य नाम जो पहले से चल रहे हैं उसमें सुनील बंसल, राममाधव,  केशव प्रसाद मौर्य,  मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान,  विनोद तावड़े के नाम शामिल हैं। यह भी कहा जा रहा है कि नितिन गडकरी की वापसी भी हो सकती है।  एक और महत्त्वपूर्ण नाम जो इस सूची में वह है देवेंद्र फडणवीस का ।

Defence Ministry  किसको मिलेगी चर्चाएं शुरू 

राजनाथ सिंह का नाम चर्चा में क्यों आया और क्या संभावनाएं हैं उसके पीछे कईं कारण माने जा रहे हैं। संगठन से जुड़े हुए जो तमाम मसले हैं  उसको सुलझाने, बातचीत करने में  राजनाथ सिंह की भूमिका काफी एक्टिव रही है।  जैसे केशव प्रसाद मौर्य  और  योगी आदित्यनाथ के बीच का मसला था उसको भी राजनाथ सिंह ने  इंटरवेंशन करके सुलझाया  था । झारखंड से जुड़े तमाम  मसलों में राजनाथ शामिल थे। इस तरह के बहुत सारे पार्टी के आंतरिक मामले हैं जहां पर देखा गया कि राजनाथ को जिम्मेदारी दी गई और  उन्होंने उसे बेहतर ढंग से पूरा क्या किया। यह दिखाता है कि राजनाथ पर अब प्रधानमंत्री की तरफ से ज्यादा भरोसा किया जा रहा है और दूसरी तरफ वह संघ के तो हमेशा से प्रिय रहे हैं।  संघ के कारण ही पहला उनको पहले भी राष्ट्रीय अध्यक्ष  बनाया गया था।  अब ना केवल राजनाथ सिंह के राष्ट्रीय अध्यक्ष बनने के लिए की बात चल रही है बल्कि रक्षा मंत्रालय किसको दिया जाए इस पर भी फैसला होने की बात कही जा रही है ।

क्या बेटे को दिलाना चाहते हैं मंत्री पद इसलिए अघ्यक्ष पद की आशा

राजनाथ सिंह का नाम चलने का यह भी फैक्टर हो सकता है कि वह उत्तर प्रदेश में आते हैं तो वहां  योगी आदित्यनाथ को बैलेंस करने के लिए भी उन्हें चुना जा सकता है। राजनाथ सिंह लंबे समय से केंद्र सरकार में मंत्री रहे हैं लेकिन इसी की वजह से उनके पुत्र पंकज सिंह जो उत्तर प्रदेश में नोएडा से विधानसभा में है उनको मंत्री पद से नकारा जा रहा है इसलिए कि एक व्यक्ति को ही मंत्री पद दिया जा सकता है ,  शायद राजनाथ सिंह के राष्ट्रीय अध्यक्ष बनने के बाद उनको मंत्री पद दे दिया जाएयह बड़ा फैक्टर है कि  उत्तर प्रदेश के अलावा और भी बहुत सारे जगहों पर संगठन में जिस तरह से राजनाथ सिंह की पकड़ है,  संगठन में लोग उन्हें जानते हैं और भीबहुत सारे जो प्रदेश हैं वहां पर बहुत सारे लोगों को बेहतर ढंग से लेकर चलने के लिए राजनाथ सिंह जाने जाते हैं वह बहुत अकोमोडेटिव व्यक्ति हैं वह किसी से कन्फेशन नहीं करते हैं।  उनके अध्यक्ष पद का कार्यकाल देखें तो  उन्होंने सिर्फ एक वसुंधरा राजे को छोड़कर  बाकी सबको तालमेल के साथ लेकर चलें हैं।

12 नामों में से कौन मारेगा बाजी-3 सबसे ताकतवर उम्मीदवार 

वैसे  राजनाथ सिंह के नाम की चर्चा वैसी ही है जैसे अन्य 12 लोगों के नाम की चर्चा है अभी बहुत क्रेडिबल कोई इंफॉर्मेशन इस तरह की नहीं आई है कि दो तीन नामों पर फाइनल चर्चा हो रही है हालांकि जो जो राजनीतिक अनुभव या उसकी बात होती है उसमें देवेंद्र फडणवीस का नाम बहुत मजबूती के साथ है सुनील बंसल का नाम बहुत मजबूती के साथ लिया जा रहा है और  धर्मेंद्र प्रधान का नाम भी बहुत मजबूती के साथ लिया जा रहा है यह तीन नाम बहुत मजबूती के साथ लिए जा रहे हैं

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