Bihar —-बेचारे तेजस्वी क्या करें एक और बड़ी समस्या सामने खड़ी
बिहार में चुनावी सरगर्मियों के बीच हर पार्टी , हर दल और एनडीए के साथ महागठबंधन भी कोई ना कोई परेशानी, समस्या का सामना कर ही रहे हैं क्योंकि इसी समय में छोटे से छोटे नेता या दल को बड़ी पार्टियों से bargain करने का मौका मिलता है अपनी बात मनवाने के लिए ये इसी मौके का ही इंतजार करते हैं, लेकिन इन सब में सबसे ज्यादा इस समय तेजस्वी यादव सबसे ज्यादा परेशान चल रहे हैं क्योंकि उन्हें एक नहीं कईं front पर समस्याओं को सामना करना पड़ रहा है। घर में तेजप्रताप और रोहिणी के बगावती तेवर, फिर कांग्रेस के साथ बढ़ती कलह और साथ ही कईं छोटे दलों के नखरे तेजस्वी को ही उठाने पड़ रहे हैं क्योंकि बिहार में महागठबंधन में RJD ही सबसे प्रमुख पार्टी है और सीटों के बंटवारे के लिए हर साथी दल तेजस्वी की ही चिंता बढ़ा रहा है, अभी तक कांग्रेस और RJD के बीच तो सीटों का बंटवारा नहीं हुआ लेकिन इस बीच झारखंड की सत्तारूढ़ पार्टी झारखंड मुक्ति मोर्चा ने बिहार में 12 सीटों पर चुनाव लड़ने का दावा करके तेजस्वी की नींद उडा दी है, पता चला है कि इस पर चर्चा के लिए पार्टी ने अपनी दो सदस्यीय टीम को पटना भेजेगी जो महागठबंधन के संयोजक तेजस्वी यादव के सामने अपनी मांग खुल कर रखेंगे। साफ लग रहा है कि jmm की यह मांग ‘इंडिया’ गठबंधन के सीट-बंटवारे के Process को बहुत कठिन बना सकती है पहले से ही कांग्रेस, वाम दल और मुकेश सहनी की VIP पार्टी सीटों की मांग के लिए मुंह फाड़े खड़े हैं अब तेजस्वी के लिए परीक्षा की घड़ी है कि वो किस तरह jmm को कम सीटों पर मनाते हैं क्योंकि तेजस्वी को पता है है कि बिहार-झारखंड से सटे जिलों में जैसे जमुई, बांका, कटिहार और सहरसा में JMM का अच्छा खास प्रभाव है और उनकी नाराजगी महागठबंधन को भारी पड़ सकती है।
NDA के एक साथी को मिला करारा झटका BJP भी चिंतित

सभी को पता है कि बिहार में जीताराम मांझी की पार्टी हम एनडीए का ही एक हिस्सा हैं और जाहिर सी बात है कि चुनाव से ठीक पहले अगर जीताराम मांझी के कईं कद्दावर नेता उन्हें छोड़ जाते हैं तो हम से ज्यादा यह एनडीए के लिए झटका है। अब चुनावों में यह आम है कि इधर का नेता उधर, उधर का नेता इधर , बस इसी Process में हम पार्टी के कई नेताओं ने जन सुराज पार्टी को ज्याइन करके मांझी जी के साथ JDU और BJP को भी झटका दिया है, वैसे जनसुराज पार्टी जिस तेजी से बिहार में अपने पांव पसार रही है वो बीजेपी JDU तो क्या Congress और RJD के लिए भी खतरे की घंटी है, अब जब दूसरे दलों से नेता भी प्रशांत किशोर को ज्वाइन कर रहे हैं तो इससे चिंता और ज्यादा बढ़ जाती है. वहीं इसी बीच एनडीए की सीट शेयरिंग को लेकर भी अंदर ही अंदक काफी हलचल है पता चला है कि चिराग तो क्या मांझी और उपेंद्र कुशवाह तक ज्यादा सीटों की मांगों पर अड़े हैं, हाल ही में केंद्रीय मंत्री बिहार और बिहार के चुनाव प्रभारी धर्मेंद्र प्रधान ने NDA में सीट शेयरिंग को लेकर इन सभी से मुलाकात की और इसके बाद चर्चाओं का बाजार भी गर्म है कि क्या जीतनराम मांझी सीटों को लेकर अभी भी गर्म हैं या टूटती पार्टी ने उनका रवैया नरम कर दिया।
