SIR का विरोध करने वाली ममता की अब बोलती बंद क्यों

पशिचम बंगाल में चुनाव आयोग ने वोटर लिस्ट से 58 लाख नाम हटाए तो वहां अलग ही तरह की राजनीती होने लगी है और चर्चाएं चल रही हैं कि इससे सबसे ज्यादा ममता की सीट को खतरा हो गया है. जी हां पता चला है कि बंगाल में स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन यानी SIR के process में बिहार से ज्यादा वोट कटे हैं और खुद ममता बनर्जी की सीट भवानीपुर से 44 हजार नाम डिलीट किए गए हैं। इसके अलावा चार और सीटे हैं जहां सबसे ज्यादा फर्जी वोट कटे हैं और हैरानी की बात यही है कि चारों सीटें TMC के पास ही हैं जैसे कि चौरंगी सीट से 74,553 वोट कटे हैं जहां TMC विधायक नयना बंधोपाध्याय हैं ,वहीं बालीगंज से बीजेसे से TMC गए बाबुल सुप्रियो विधायक हैं और उनके यहां से 65,171 वोट कटे हैं, कोलकाता पोर्टन से फिरहाद हकीम विधायक और 63,730 कटे हैं वहीं श्यामपुर से कालीदास मंडल विधायक हैं और 42,303 वोट कटे हैं। वैसे जो ममता बनर्जी कल तक बिहार में sir को लेकर चिल्ला रही थी कि बंगाल में यह होने ही नहीं देंगे, यह बंगाल है बिहार नहीं जो यह सब हो जाएगा, लेकिन आज जब इतनी बड़ी संख्या में वोटरो के नाम डीलीट हुए और खासतौर उनकी अपनी सीट से भी तो उनकी बोलती ही बंद है और माना जा रहा है अगले साल बंगाल में होने वाले चुनाव में इससे TMC की मुश्किलें काफी हद तक बढ़ जाएंगी।

BJP विधायक क्यों गिरी गाज—हर जगह Modi का डर


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का एक बयान काफी famous हुआ है जो अभी भी काफी चर्चा में आ जाता है, मोदी जी ने कहा था कि ना मैं खाउंगा ना ही खाने दूंगा, लगता है मोदी जी का यह stand बीजेपी नेता follow कर ही रहे हैं इसमें चाहे उनकी इच्छा हो या मजबूरी , मजबूरी इसलिए कह सकते हैं कि यदि किसी बीजेपी नेता की छत्रछाया में corruption का कोई भी मामला सामने आ जाता है तो उसे पता है कि इस कारण उसकी गद्दी सबस पहले छीन ली जाएगी। अब राजस्थान से कुछ ऐसी ही खबर सामने आ रही है पता चला है कि वहां के सीएम भजनलाल शर्मा ने तुरंत प्रभाव से वहां के 3 विधायकों के एमएलए एलएडी के खाते फ्रीज करवा दिए हैं। सबसे अहम है कि इन विधायकों में एक विधायक बीजेपी का भी है , दरअसल हाल ही में राजस्थान के एक मीडिया हाउस ने इन तीन विधायकों का स्टिंग ऑपरेशन करके इनकी कमीशनखोरी का पर्दाफाश किया था, पत्रकार ने विधायकों के पास जाकर विधायक निधि से होने वाले विकास कार्य अपनी फर्म से कराने के लिए डील की और तीनों विधायक 30 से 40 प्रतिशत कमिशन पर डील को तैयार हो गए। इन तीन विधायकों में भाजपा विधायक रेवंत राम डांगा, कांग्रेस विधायक अनीता जाटव और निर्दलीय विधायक ऋतु बनावत शामिल हैं। बस जैसे ही यह खबर सामने आई हंगामा हो गया, भाजपा प्रदेशाध्यक्ष मदन राठौड़ ने विधायक रेवंतराम डांगा को नोटिस जारी कर 3 दिन में जवाब मांगा है। उधर कांग्रेस ने भी विधायक अनीता जाटव से जवाब मांगा लिया है।

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